Saturday 11 July 2015

10 हर्फी ओजान

10 हरफी औज़ान        
बहर मुतदारिक मुरब्बा सालम
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फाएलुन फाएलुन एक मिसरा में एक बार ! इस बहर का वज़न और आहंग(आलाप)”विमोहा “और
“दीप”छंदों के समान है ! 
विमोहा छंद
ये 6 अक्षरों का एक वर्णिक है जो “ रगन “ SIS को दो बार लाने से बनता है !
 धर्म को धारणा SIS  SIS   मोक्ष की कामना SIS SIS है न एको जिसे SIS SIS
व्यर्थ जानो उसे  SIS  SIS ( फाएलुन  फाएलुन )
दीप छंद
ये विमोहा छंद का मात्राई रूप है ,इस में दो “रगन”रखने से 10 मात्राएँ पूरी हो जाती हैं !
बहर मुतकारिब मुरब्बा सालम
इस बहर में ,एक मिसरा में “फ़ऊलुन” दो बार ISS ISS लाया जाता है !इस बहर का वज़न और आहंग (आलाप ) सोमराजी छंद के बराबर है
सोमराजी छंद
इस का दूसरा नाम “शंखनारी”छंद भी है ! इस छंद के हर एक मिसरा में दो यगण (फ़ऊलुन ISS)की तरतीब से
 6 अक्षर 10 मात्राओं के बराबर होते
अम्बा छंद
इस वर्णिक छंद के हर एक मिसरा में “भगन+मगन (फाएलो +मफऊलुन SII +SSS )की तरतीब से 6 अक्षर 10 मात्राओं के बराबर होते हैं !
बहर बसीत मुरब्बा मतवी म्क़्तूअ
मफतएलुन+फेलुन SIIS+SS एक मिसरा में एक बार ! अम्बा छंद के बराबर है !
तपी छंद
इस वर्णिक छंद के हर मिसरा में भगन फाएलो +भगन फाएलो +गुरु फा=SII+SII+S की तरतीब से 7 अक्षर या 10मात्राएँ होती हैं
मफतएलुन+फेलुन  SIIS + SS एक मिसरा में एक बार बहर कामिल मुरब्बा म्हज़ूल मह्ज़ूज़
का वजन और आहंग है
सुमाला छंद
हर एक मसरा में सगन (फएलुन)+सगन( फएलुन)+गुरु (फा )की तरतीब से सात अक्षर या 10 मात्राएँ होती हैं
                              ( IIS+ IIS+S =१०)
नोट ---फएलुन फएलुन+फा (IIS IIS S ) बहर मुतदारिक मुसद्दस मखबून मह्ज़ूज़  का वज़न
और आहंग है
सम्मोहा छंद
इस छंद के हर एक मिसरा में “मगन”+गुरु गुरु  (मफऊलुन SSS +गुरु गुरु फेलुन SS )की तरतीब से 5 अक्षर या 10 मात्राएँ होती हैं
बहर मुज़ारा मुरब्बा अखरब महजूफ
मफऊल  फाएलुन (SSI SIS) एक मिसरा में एक बार
                                           10 हर्फी ओजान समाप्त हुए

                                                   गौहर जमाली 

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